उपायुक्त राघव शर्मा ने घंडावल में निर्माणाधीन बैम्बू विलेज परियोजना का किया निरीक्षण

उपायुक्त राघव शर्मा ने घंडावल में निर्माणाधीन बैम्बू विलेज परियोजना का किया निरीक्षण

DPLN ( ऊना )
1 नवम्बर । उपायुक्त राघव शर्मा द्वारा बुधवार को जिला ऊना के घंडावल गांव में निर्माणाधीन बैम्बू गांव परियोजना का निरीक्षण किया गया। इस दौरान उद्योग विभाग के प्रबंधक अखिल शर्मा, एचपीएसआईडीसी के सहायक अभियंता पंकज कुमार, राष्ट्रीय उच्च मार्ग प्राधिकारण के सहायक अभियंता राजेश कुमार शर्मा, बैम्बू इंडिया के प्रबंध निदेशक योगेश शिंदे सहित स्वां वूमैन फेडरेशन मुख्य सलाहकार राजेश शर्मा उपस्थित रहे।राष्ट्रीय बैम्बू मिशन के तहत बन रही प्रदेश की एक मात्र परियोजना में बांस का प्रसंस्करण कर अनेक उत्पाद बनाने के प्रावधान है जिनमें बांस के टूथ ब्रश, कंघे सहित रोजमर्रा जरूरतों के उत्पादों के अलावा फर्नीचर के उत्पाद भी शामिल है। यह ईकाई जिला प्रशासशन की अनूठी पहल है जिसमें कृषि और उद्योग शामिल है तथा बैम्वू इंडिया के तकनीकी मार्गदर्शन में ऊना जिला की संस्था स्वां वूमैन फेडरेशन द्वारा इसे संचालित किया जाएगा। उपायुक्त राघव शर्मा ने उद्योग विभाग के अधिकारियों को बैम्बू परियोजना के निर्माणाधीन भवन को 15 नवम्बर तक पूर्ण करने के निर्देश दिए। उन्होंने बताया कि इस भवन में टूथ ब्रश और बैम्वू पैलेट बनाने संबंधी मशीनरी 25 नवम्बर तक स्थापित कर दी जाएंगी तथा दिसम्बर के प्रथम माह में बैम्वू इंडिया द्वारा स्थापित मशीनों की टैस्टिंग भी की जाएगी।

उपायुक्त ने एचपीएसआईडीसी के अधिकारियों को ईकाई में बिजली व पानी की सुचारू व्यवस्था उपलब्ध करवाने के भी निर्देश दिए। इसके अलावा निर्माणाधीन भवन के चारों ओर की भूमि को सड़क के लेवल तक तैयार करने के लिए विभागीय अधिकारियों को शीघ्र डीपीआर तैयार करने के निर्देश दिए। इस दौरान स्वां वूमैन फेडरेशन के परामर्शक राजेश शर्मा ने उपायुक्त से अनुरोध किया कि जब तक बैम्वू उत्पादों को प्रदर्शित करने के लिए स्थाई भवन का निर्माण नही होता तब तक फेडरेशन को बैम्वू से बना अस्थाई ढांचे के निर्माण करने की अनुमति दी जाए। फेडरेशन ने यह भी बताया कि निकटवर्ती गांव में संस्था के लगभग 50 स्वयं सहायता समूह गठित हैं जिनमें से लगभग 25 समूहों की महिलाएं इस ईकाई में कार्य करके अपनी आजीविका के सृजन को अंजाम देने के लिए तैयार हैं। उपायुक्त ने कहा कि बैम्वू प्रसंस्करण मशीनों को चलाने के लिए तकनीकी स्टाफ की आवश्यकता होगी जिसका चयन फेडरेशन द्वारा शीघ्र किया जाए ताकि स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं को बैम्वू इंडिया के मास्टर टेªनरों द्वारा प्रशिक्षित किया जा सके। उन्होंने कहा कि बैम्वू इंडिया ने बांस से बने उत्पादों की खरीद को सुनिश्चित करने का भी आश्वासन दिया है।

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